कोलकाता रेप-मर्डर: जूनियर डॉक्टरों का प्रदर्शन जारी, ममता बनर्जी से लाइव मीटिंग की मांग, सीएम की अपील- ‘हड़ताल खत्म करें, दोषियों को सख्त सजा दिलवाऊंगी’

कोलकाता में एक ट्रेनी डॉक्टर के रेप और मर्डर के मामले को लेकर जूनियर डॉक्टरों द्वारा किए जा रहे प्रदर्शन ने तूल पकड़ लिया है। 10 सितंबर से हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के साथ मीटिंग की लाइव स्ट्रीमिंग की मांग की है। हालांकि, ममता बनर्जी ने लाइव स्ट्रीमिंग की मांग को अस्वीकार कर दिया, लेकिन आश्वासन दिया कि चर्चा की रिकॉर्डिंग की जाएगी।

ममता की अपील: ‘मैं आपकी दीदी हूं, हड़ताल खत्म करें’

सीएम ममता बनर्जी ने डॉक्टरों से हड़ताल खत्म करने की अपील की। उन्होंने कहा, “मेरा पद नहीं, लोगों का पद बड़ा है। मैं मुख्यमंत्री नहीं, आपकी दीदी बनकर आपसे मिल रही हूं।” ममता ने आश्वासन दिया कि मामले में दोषियों को कड़ी सजा दी जाएगी और उन्होंने डॉक्टरों के खिलाफ कोई कार्रवाई न करने का वादा भी किया। ममता ने कहा, “CBI जांच के लिए तैयार हूं और दोषियों को फांसी तक दिलवाऊंगी।”

डॉक्टरों की मांगें और शर्तें

डॉक्टरों ने हड़ताल को जारी रखते हुए 5 मांगें और 4 शर्तें रखी हैं। उनकी प्रमुख मांगों में इस घटना में शामिल दोषियों को कड़ी सजा देने और स्वास्थ्य तंत्र में सुधार शामिल हैं। हड़ताली डॉक्टरों ने मीटिंग के लाइव टेलीकास्ट की मांग करते हुए कहा कि सरकार उनकी मांगों पर कोई स्पष्ट प्रतिक्रिया नहीं दे रही है।

ममता की तीन प्रयास विफल, डॉक्टर नहीं माने

ममता बनर्जी अब तक तीन बार डॉक्टरों से बैठकर बातचीत करने की कोशिश कर चुकी हैं। पहले 10 सितंबर को डॉक्टरों को मीटिंग के लिए बुलाया गया, लेकिन डॉक्टर मीटिंग में नहीं पहुंचे। इसके बाद, 11 और 12 सितंबर को भी डॉक्टरों ने सरकार के प्रस्तावों को ठुकरा दिया।

सुप्रीम कोर्ट का आदेश और डॉक्टरों का रुख

9 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट ने कोलकाता रेप-मर्डर केस की सुनवाई के दौरान डॉक्टरों को 10 सितंबर तक हड़ताल खत्म करने का आदेश दिया था। कोर्ट ने सख्त कार्रवाई की चेतावनी भी दी थी, लेकिन डॉक्टरों ने अभी भी अपनी मांगों को पूरा होने तक हड़ताल जारी रखने का फैसला किया है।

पीएम और राष्ट्रपति को पत्र

जूनियर डॉक्टरों ने पीएम नरेंद्र मोदी और राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को चिट्ठी लिखकर मामले में हस्तक्षेप की मांग की है। उन्होंने कहा कि उनका हस्तक्षेप उन्हें “अंधेरे से बाहर निकलने का रास्ता” दिखाएगा और पीड़िता के लिए न्याय सुनिश्चित करेगा। डॉक्टरों ने कोलकाता की ट्रेनी डॉक्टर को ‘अभया’ नाम दिया है, और उनके लिए न्याय की मांग जारी रखी है।

डॉक्टरों का संघर्ष जारी

डॉक्टरों ने स्वास्थ्य भवन के बाहर “अभया क्लिनिक” खोलकर लोगों का इलाज भी शुरू किया है। बारिश और प्रतिकूल मौसम के बावजूद, वे स्वास्थ्य भवन के सामने प्रदर्शन कर रहे हैं। उनका कहना है कि वे न्याय मिलने तक पीछे नहीं हटेंगे।

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